ये इंसानी कुत्ता क्या बला है?
हमारी कल की एक पोस्ट एक इंसानी कुत्ता पीछे पड़ा है, क्या करें? पर एक ब्लागर मित्र ने हमसे फोन करके सवाल किया कि यार ये इंसानी कुत्ता क्या बला है?
हमने उनको बताया कि जब बिना वजह कोई इंसान किसी के पीछे पड़ जाए और अनाप-शनाप कुछ लिखने लगे तो उसको कहते हैं इंसानी कुत्ता।
जिस तरह से कुत्तों की आदत होती है कहीं भी गंदगी करने की उसी तरह से इन इंसानी कुत्तों की भी आदत होती है किसी को भी बिना वजह परेशान करने की।
ऐसे इंसानी कुत्तों की ब्लाग जगत में भी कमी नहीं है, ऐसे ही इंसानी कुत्तों से हमारे वे ब्लागर मित्र ही नहीं बल्कि हम और न जाने कितने ऐसे ब्लागर हैं जो परेशान हैं, यही वजह है कि हमें इशारों में ही एक पोस्ट लिखनी पड़ी कि शायद उन इंसानी कुत्तों में कुछ इंसानित हो तो वे अपनी हरकतों से बाज आ जाए। हम उनसे यह उम्मीद इसलिए कर रहे हैं, क्योंकि वे इंसानी कुत्ते हैं, और इंसान में इंसानित तो होती ही है, वैसे हमें लगता नहीं है कि ऐसे इंसानी कुत्ते बाज आ सकते हैं, लेकिन चूंकि हम इंसान हैं और इंसान भरोसा करने में विश्वास रखते हैं, इसलिए हमने भरोसे में एक पोस्ट लिखी थी। अब यह तो उन इंसानी कुत्तों पर है वि वे क्या सोचते हैं और करते हैं।
हमने तो ऐसे इंसानी कुत्तों से बचने के लिए अपने सभी ब्लागों में टिप्पणी के रास्ते ही बंद कर दिए हैं। कहते हैं न कि न रहेगा बांस और न बजेगी बांसुरी, तो जब इंसानी कुत्तों के पास रास्ता ही नहीं रहेगा तो वे क्या करेंगे। वैसे हम जानते हैं कि ऐसे कुत्ते कहीं भी जाकर गंदगी कर सकते हैं, तो मित्रों ऐसे इंसानी कुत्तों से बचने के लिए टिप्पणियों का मोह हमारी तरह से छोड़ कर अपने लेखन पर ही ध्यान दें।
हम इस तरह की पोस्ट लिखते भी नहीं लेकिन क्या करें जब कोई सीमा से बाहर चला जाए तो उसको जवाब देना जरूरी होता है। हमें तो लगता है कि एक इंसानी कुत्ता बस इसी इंतजार में रहता है कि कब हम कुछ लिखें और कब वह आकर जहां स्थान मिले गंदगी करके चला जाए। ब्लाग चौपाल जैसे साफ-सुधरे ब्लाग को भी तो इस इंसानी कुत्ते से नहीं छोड़ा है। अब ऐसे में कोई क्या कर सकता है। न जाने इस इंसानी कुत्ते को हमसे क्या दुश्मनी है जो बिलकुल जाति दुश्मन की तरह हमारे पीछे पड़ा है। अगर कोई हमें इतना ही जाति दुश्मन समझता है तो सामने क्यों नहीं आता है, क्यों कर कायरों की तरह कुत्ते की खाल ओढ़कर भोंकने का काम कर रहा है। अगर वह कुत्ता नहीं शेर है तो अपनी असली पहचान के साथ सामने आकर हमारा मुकाबला करें। हम जानते हैं कि जो इंसान कुत्ते की खाल ओढ़े हुए है वह कभी सामने आने वाला नहीं है, संभवत: हम ही अपना समय खराब कर रहे हैं, लेकिन हम जानते हैं कि किसी के वार का जवाब न देना भी बुजदिली होता है, ऐसे में हम कभी भी जवाब देने में पीछे नहीं रहते हैं।
हमने उनको बताया कि जब बिना वजह कोई इंसान किसी के पीछे पड़ जाए और अनाप-शनाप कुछ लिखने लगे तो उसको कहते हैं इंसानी कुत्ता।
जिस तरह से कुत्तों की आदत होती है कहीं भी गंदगी करने की उसी तरह से इन इंसानी कुत्तों की भी आदत होती है किसी को भी बिना वजह परेशान करने की।
ऐसे इंसानी कुत्तों की ब्लाग जगत में भी कमी नहीं है, ऐसे ही इंसानी कुत्तों से हमारे वे ब्लागर मित्र ही नहीं बल्कि हम और न जाने कितने ऐसे ब्लागर हैं जो परेशान हैं, यही वजह है कि हमें इशारों में ही एक पोस्ट लिखनी पड़ी कि शायद उन इंसानी कुत्तों में कुछ इंसानित हो तो वे अपनी हरकतों से बाज आ जाए। हम उनसे यह उम्मीद इसलिए कर रहे हैं, क्योंकि वे इंसानी कुत्ते हैं, और इंसान में इंसानित तो होती ही है, वैसे हमें लगता नहीं है कि ऐसे इंसानी कुत्ते बाज आ सकते हैं, लेकिन चूंकि हम इंसान हैं और इंसान भरोसा करने में विश्वास रखते हैं, इसलिए हमने भरोसे में एक पोस्ट लिखी थी। अब यह तो उन इंसानी कुत्तों पर है वि वे क्या सोचते हैं और करते हैं।
हमने तो ऐसे इंसानी कुत्तों से बचने के लिए अपने सभी ब्लागों में टिप्पणी के रास्ते ही बंद कर दिए हैं। कहते हैं न कि न रहेगा बांस और न बजेगी बांसुरी, तो जब इंसानी कुत्तों के पास रास्ता ही नहीं रहेगा तो वे क्या करेंगे। वैसे हम जानते हैं कि ऐसे कुत्ते कहीं भी जाकर गंदगी कर सकते हैं, तो मित्रों ऐसे इंसानी कुत्तों से बचने के लिए टिप्पणियों का मोह हमारी तरह से छोड़ कर अपने लेखन पर ही ध्यान दें।
हम इस तरह की पोस्ट लिखते भी नहीं लेकिन क्या करें जब कोई सीमा से बाहर चला जाए तो उसको जवाब देना जरूरी होता है। हमें तो लगता है कि एक इंसानी कुत्ता बस इसी इंतजार में रहता है कि कब हम कुछ लिखें और कब वह आकर जहां स्थान मिले गंदगी करके चला जाए। ब्लाग चौपाल जैसे साफ-सुधरे ब्लाग को भी तो इस इंसानी कुत्ते से नहीं छोड़ा है। अब ऐसे में कोई क्या कर सकता है। न जाने इस इंसानी कुत्ते को हमसे क्या दुश्मनी है जो बिलकुल जाति दुश्मन की तरह हमारे पीछे पड़ा है। अगर कोई हमें इतना ही जाति दुश्मन समझता है तो सामने क्यों नहीं आता है, क्यों कर कायरों की तरह कुत्ते की खाल ओढ़कर भोंकने का काम कर रहा है। अगर वह कुत्ता नहीं शेर है तो अपनी असली पहचान के साथ सामने आकर हमारा मुकाबला करें। हम जानते हैं कि जो इंसान कुत्ते की खाल ओढ़े हुए है वह कभी सामने आने वाला नहीं है, संभवत: हम ही अपना समय खराब कर रहे हैं, लेकिन हम जानते हैं कि किसी के वार का जवाब न देना भी बुजदिली होता है, ऐसे में हम कभी भी जवाब देने में पीछे नहीं रहते हैं।
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